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Rules regarding foundation and inauguration of state buildings

Dinesh Kumar Vaishnav

श्री दिनेश कुमार वैष्णव, व. सहायक
CBEO अराई जिला अजमेर

Rules regarding foundation and inauguration of state buildings

रोजाना एक प्रश्न- क्रमांक 410

राजकीय भवनों के शिलान्यास/उद्घाटन के सम्बन्ध में आवश्यक निर्देश

राजकीय भवनों के शिलान्यास या उद्घाटन के लिए राजकीय समारोह में जनप्रतिनिधियों को आमंत्रित करने के लिए संस्था प्रधान को राज्य सरकार द्वारा जारी निर्देशों की पालना सुनिश्चित करनी है। राजस्थान सरकार के प्रशासनिक सुधार एवं समन्वय विभाग (अनुभाग-1) के आदेश क्रमांक – पं 24(1) प्रसु/सम/अनु-1/2015 जयपुर दिनांक 17 फरवरी 2020 के परिपत्र अनुसार यह स्पष्ट किया गया है कि राजकीय भवनों के शिलान्यास या उद्घाटन के लिए/ राजकीय समारोह में जनप्रतिनिधियों (सांसद, विधायक, जिला प्रमुख, प्रधान, नगर निकायों के मेयर/ सभापति/ अध्यक्ष, ग्राम पंचायत के सरपंच) को आमंत्रित करने सम्बन्धित निम्नांकित बिंदुओं का विशेष ध्यान रखना अनिवार्य है।

  • 1) राजकीय भवनों के आंशिक अथवा पूर्ण रूप से राजकीय धनराशि से निर्मित राजकीय भवन या सार्वजनिक भवनों के शिलान्यास या उद्घाटन व अन्य राजकीय समारोह में स्थानीय जनप्रतिनिधियों को अनिवार्यतः आमंत्रित किया जाए।
  • 2) सम्मानीय जनप्रतिनिधियों को आमंत्रित करने के लिए सूचना तीव्रतर संचार साधनों या माध्यमो से प्रेषित की जाए ताकि उन्हें यथासमय सूचना प्राप्त हो जाये।
  • 3) यह जरूर सुनिश्चित कर लेवे कि जनप्रतिनिधि द्वारा सूचना प्राप्ति की पुष्टि सम्बन्धित अधिकारी द्वारा की जा चुकी है।
  • 4) आमंत्रित किये गए जनप्रतिनिधियों की बैठक व्यवस्था समुचित तरीके से की जाए। उन्हें कोई दुविधा न हो और समारोह में जनप्रतिनिधियों को ससम्मान बैठाने की पूर्ण व्यवस्था हो।
  • 5) सांसदों / विधायकों से सम्पर्क के दौरान सरकारी सेवक द्वारा शिष्टता व सम्मान प्रदर्शित किया जाए।
  • 6) यह भी ध्यान रखे कि उन्हें जनप्रतिनिधि के समक्ष क्या कहना है ? जनप्रतिनिधि की बात को धैर्यपूर्वक सुनना व सटीक जवाब दिया जाना चाहिए।
  • 7) राजकीय भवन का शिलान्यास/उद्घाटन/लोकार्पण जनप्रतिनिधियों के द्वारा ही सम्पादित कराए जाएं। किसी भी परिस्थितियों में अधिकारीगण उक्त कार्य न करे और न ही शिलालेख पर अपने नाम अंकित कराए।
  • 8) जिन राजकीय कार्यों को (विकास से सम्बन्धित) क्रियान्वित नही किया जा सकता है अधिकारी उनके बारे में अनावश्यक घोषणा न करे और न ही आश्वासन देवे।
  • 9) विभिन्न योजनाओं के अन्तर्गत होने वाले विभिन्न निर्माण कार्यों / भवनों एवं बस्तियों अथवा राज्य सहायता से निर्मित विभिन्न परियोजनाओं के नाम भी अधिकारियों के नाम द्वारा सम्बोधित नही किये जायें।
  • 10) राज्य सरकार द्वारा आयोजित विभिन्न अभियानों, जनसुनवाई कार्यक्रमों व राजकीय समारोह में अधिकारीगण साफा/माला नही पहने।
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